मुख्यमंत्री के विरुद्ध दुर्भावनापूर्ण खबर पर भाजपा में नाराजगी
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देहरादून। भाजपा ने मुख्यमंत्री की सेहत को लेकर सोशल मीडिया में चलाई जा रही खबरों को विपक्ष की घिनौनी हरकत बताया। भाजपा ने आरोप लगाया कि कोरोना संकट के दौरान कांग्रेस अराजकता फैलाने के दुष्प्रयासों में जुटी हुई है।
भाजपा के प्रदेश मीडिया प्रभारी अजेंद्र अजय ने कहा कि केंद्र व प्रदेश सरकार कोरोना महामारी से निपटने के लिए सजगता व सतर्कता से कार्य कर रही है। सरकार इस चुनौती से पार पाने के लिए हर संभव कोशिश कर रही है। प्रवासियों की वापसी के लिए प्रदेश सरकार तत्परता से जुटी हुई है। बड़ी संख्या में प्रदेश और प्रदेश से बाहर फंसे लोगों को उनके घरों तक पहुंचाया जा चुका है। सरकार चरणबद्ध तरीके से वापसी में लगी हुई है।
उन्होंने बताया कि प्रदेश सरकार ने लोगों की घर वापसी के लिए स्टैंडर्ड ऑपरेटिंग प्रोसिजर (एसओपी) तैयार कर दी है। जिलाधिकारियों को इस मामले में जिम्मेदारी सौंपी गई है। उन्होंने कहा कि इतनी बड़ी आपदा के समय एक जिम्मेदार विपक्ष के नाते कांग्रेस को चाहिए था कि वो सरकार के प्रयासों में सहयोग करती। लॉक डाउन के कारण समस्याओं का सामना कर रहे लोगों की कांग्रेस नेता भाजपा की तरह मदद पहुंचा सकते थे। मगर कांग्रेसियों ने इस दिशा में कोई प्रयास नहीं किए। उल्टा लोगों को भड़काने में जुटी हुई है। कांग्रेस किसी भी कीमत पर अराजकता फैलाना चाहती है।
उन्होंने सोशल मीडिया पर मुख्यमंत्री की सेहत को लेकर चलाई गई खबरों को दुर्भावना पूर्ण बताया और कहा कि कांग्रेस के लोग सोशल मीडिया में अभियान चला कर घटिया राजनीति कर रही है।
उधर भाजपा उत्तराखंड के प्रदेश उपाध्यक्ष डॉ देवेंद्र भसीन ने कहा कि राज्य सरकार सभी पंजीकृत प्रवासियों को वापस ला रही है परंतु इस कार्य में धैर्य रखने की भी ज़रूरत है । उन्होंने सोशल मीडिया में मुख्यमंत्री के निधन की झूठी ख़बर चलाए जाने की निंदा करते हुए कड़ी कार्यवाही की माँग की और कहा कि सोशल मीडिया का ज़िम्मेदारीपूर्ण उपयोग हो।
आज यहाँ एक बयान में भाजपा प्रदेश उपाध्यक्ष डॉ देवेंद्र भसीन ने कहा कि कोरोना के चलते उत्तराखंड सरकार उन सभी प्रवासियों जिन्होंने वापसी हेतु पंजीकरण कराया है को वापिस ला रही है । लेकिन कोरोना को देखते हुए इस काम में लगने वाले समय को ध्यान में रखते हुए धैर्य की ज़रूरत होगी।उत्तराखंड लौटने हेतु जहां कुल पंजीकरण क़रीब 1.65 लाख है वहीं ये लोग देश के विभिन्न प्रांतों में अलग अलग स्थानों पर अलग अलग परिस्थितियों में रह रहे हैं । चूँकि प्रवासियों की वापसी में दूसरे राज्यों की सहमति ज़रूरी है इसलिए उत्तराखंड सरकार द्वारा विभिन्न राज्य सरकारों से सम्पर्क किया जा रहा है जिससे प्रवासियों की तेज़ी से वापसी हो । इसके चलते विगत दिवस ही तीन राज्यों से करीबी 6000 लोग उत्तराखंड लौटे।इसके अलावा वापसी में सोशल डिस्टेंसिंग व कोरोना से बचाव के अन्य प्रबंध भी करने होते हैं और वापसी पर उनकी मेडिकल जाँच , वापस आए लोगों को क्वारेंटिन किया जाना है इसलिए सरकार बड़े स्तर पर बनाई गई रणनीति पर काम कर रही है। लेकिन इसमें सभी का सहयोग ज़रूरी है।
डॉ भसीन ने कहा किP सोशल मीडिया का ज़िम्मेदारी से उपयोग करना चाहिए। उन्होंने बताया कि दो दिन पूर्व ट्वीटर पर देहरादून पुलिस के ख़िलाफ़ शिकायत पोस्ट की जिसे उन्हें भी टेग किया गया। जब मुख्यमंत्री कार्यालय से डी आई जी स्तर से जाँच कराई गई तो शिकायत शरारत पूर्ण पाई गई। इस पर भी क़ानूनी कार्यवाही होने की उन्हें जानकारी मिली है।लेकिन यह भी ग़ैरज़िम्मेदारी का कार्य है जो क़ानून विरुद्ध है।