ऋषिकेश- सोमवती अमावस्या और वट सावित्री व्रत पर गंगा घाटों पर श्रद्धालुओं ने लगाई आस्था की डुबकी

त्रिवेणी न्यूज 24
ऋषिकेश- वट सावित्री और सोमवती अमावस्या का पर्व एक साथ होने के चलते देश के विभिन्न प्रांतों से लाखों की संख्या में श्रद्धालुओं ने तीर्थ नगरी के त्रिवेणी घाट, राम झूला, लक्ष्मण झूला सहित तमाम घाटों पर गंगा में आस्था की डुबकी लगाई। वही महिलाओं ने पति की दीर्घायु की कामना को लेकर वट वृक्ष के नीचे बैठकर पूजा अर्चना भी की।
सोमवती अमावस्या पर भीड़ बढ़ने के चलते नगर की यातायात व्यवस्था पूरी तरह लड़खड़ा गई। इसे नियंत्रित करने के लिए ट्रैफिक पुलिस को काफी जद्दोजहद करनी पड़ी। ट्रैफिक इंचार्ज हितेश शाह ने बताया कि ट्रैफिक को नियंत्रित करने के लिए बैराज मार्ग और श्यामपुर से नटराज चौक की ओर वाहनों को डाइवर्ट किया गया है। वही त्रिवेणी घाट पर गंगा स्नान और महिलाओं द्वारा वट सावित्री की पूजा करने के लिए भी घाट पर अपनी बारी की प्रतीक्षा करनी पड़ी। शहर में चार धाम यात्रा के कारण भी काफी संख्या में लोग रुके हैं। जिन्होंने सोमवार की सुबह 4:00 बजे से ही गंगा स्नान करना प्रारंभ कर दिया था। इस दौरान श्रद्धालुओं ने गंगा में आस्था की डुबकी लगाकर गरीबों और ब्राह्मणों को दान पुण्य भी किया। पंडित वेद प्रकाश ने बताया कि अखंड सौभाग्य देने वाले वट सावित्री व्रत के दौरान इस दिन वट वृक्ष, सावित्री और सत्यवान की पूजा करते हैं। वट वृक्ष में कच्चा सूत लपेटा जाता है, और परिक्रमा की जाती है। पूजा के समय वट सावित्री व्रत कथा सुनते हैं. सुहागन महिलाएं अपने पति की लंबी आयु, पुत्र और सुखी जीवन के लिए प्रार्थना करती हैं। पूजा का समापन वट सावित्री व्रत की आरती से करनी चाहिए। आरती के लिए घी के दीपक या फिर कपूर का उपयोग कर सकते हैं।