ऋषिकेश- सिर्फ ऑनलाइन पढ़ा रहे स्कूल ले सकेंगे ट्यूशन फीस, दूसरे शुल्कों को जोड़कर ट्यूशन फीस को बढ़ा नहीं सकेंगे विद्यालय
त्रिवेणी न्यूज 24
देहरादून – कोरोना महामारी के दौरान बंद शैक्षिक संस्थानों की फीस को लेकर उत्तराखंड सरकार ने बड़ा फैसला लिया है। कोरोना की वजह से बंद स्कूलों से सिर्फ उन्हीं विद्यालयों को बच्चों से ट्यूशन फीस लेने की अनुमति दी गई है, जो बच्चों को ऑनलाइन या अन्य संचार माध्यमों से पढ़ा रहे हैं। ऑनलाइन पढ़ने के बावजूद यदि किसी बच्चे के अभिभावक ट्यूशन फीस देने में असमर्थ हैं तो उन्हें संबंधित विद्यालय के प्रधानाचार्य या प्रबंधन समिति को कारणों का उल्लेख करते हुए फीस जमा करने के लिए अतिरिक्त समय का उल्लेख कर सकते हैं। लेकिन यह भी साफ किया गया है कि देरी से फीस देने पर किसी भी विद्यार्थी को स्कूलों से बाहर नहीं निकाला जाएगा। इसके साथ ही आदेश में कहा गया है कि कुछ विद्यालयों ने खेल, कम्प्यूटर आदि मदों की फीस को भी ट्यूशन फीस में शामिल करके अपनी ट्यूशन फीस में अत्यधिक वृद्धि कर ली है, ऐसे विद्यालयों के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी। आदेश के साथ ही सभी मुख्य शिक्षा अधिकारियों को ऐसे स्कूलों को चिन्हित कर कार्रवाई करने के निर्देश दिए गए हैं। कोरोना संक्रमण के बढ़ते मामलों को देखते हुए सरकार ने राज्यभर के सभी शिक्षण संस्थानों को अग्रिम आदेशों तक बंद रखने को कहा है। इसके बावजूद कुछ निजी स्कूल अभिभावकों पर सभी मदों में पूरी फीस देने के लिए दबाव बना रहे हैं। शिक्षा महानिदेशक ने साफ किया है कि स्कूल बंद रहने की अवधि में जो संस्थान ऑनलाइन पढ़ाई करा रहे हैं, वे इस दौरान सिर्फ ट्यूशन फीस ही बच्चों से लेंगे। उल्लेखनीय है कि इससे पहले बीती 25 अप्रैल को शिक्षा सचिव आर मीनाक्षी सुंदरम की ओर से भी आदेश जारी कर निजी स्कूलों को आनलाइन पढ़ाई कराने की सूरत में ही ट्यूशन फीस लेने को कहा था। अब पुनः शिक्षा महानिदेशक ने सभी जिलों में मुख्य शिक्षा अधिकारियों को सख्ती से निजी स्कूलों की मनमानी रोकने के निर्देश दिए हैं। आदेश में साफ कर दिया गया कि कोविड संक्रमण की दूसरी लहर में भी स्कूल सिर्फ ऑनलाइन क्लास की ट्यूशन फीस ही ले सकेंगे।